comScore अडानी ग्रीन एनर्जी ने पर्यावरण संरक्षण की दिशा में उठाया बड़ा कदम, TNFD फ्रेमवर्क को अपनी रणनीति में किया शामिल - Vibes Of India

Gujarat News, Gujarati News, Latest Gujarati News, Gujarat Breaking News, Gujarat Samachar.

Latest Gujarati News, Breaking News in Gujarati, Gujarat Samachar, ગુજરાતી સમાચાર, Gujarati News Live, Gujarati News Channel, Gujarati News Today, National Gujarati News, International Gujarati News, Sports Gujarati News, Exclusive Gujarati News, Coronavirus Gujarati News, Entertainment Gujarati News, Business Gujarati News, Technology Gujarati News, Automobile Gujarati News, Elections 2022 Gujarati News, Viral Social News in Gujarati, Indian Politics News in Gujarati, Gujarati News Headlines, World News In Gujarati, Cricket News In Gujarati

Vibes Of India
Vibes Of India

अडानी ग्रीन एनर्जी ने पर्यावरण संरक्षण की दिशा में उठाया बड़ा कदम, TNFD फ्रेमवर्क को अपनी रणनीति में किया शामिल

| Updated: December 8, 2025 12:16

अहमदाबाद: भारत की सबसे बड़ी रिन्यूएबल एनर्जी कंपनी, अडानी ग्रीन एनर्जी लिमिटेड (AGEL) ने अपनी सस्टेनेबिलिटी (स्थिरता) यात्रा में एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है। कंपनी ने ‘टास्कफोर्स ऑन नेचर-रिलेटेड फाइनेंशियल डिस्क्लोजर’ (TNFD) फ्रेमवर्क को अपनी कंपनी-व्यापी रणनीति में मुख्यधारा में शामिल कर लिया है।

यह फ्रेमवर्क संगठनों को प्रकृति और जैव विविधता (biodiversity) से संबंधित निर्भरताओं, प्रभावों, जोखिमों और अवसरों की पहचान, मूल्यांकन, प्रबंधन और खुलासा करने के लिए एक विज्ञान-आधारित दृष्टिकोण प्रदान करता है।

2030 तक जैव विविधता के नुकसान को शून्य करने का लक्ष्य

अडानी ग्रीन एनर्जी ने अपने दीर्घकालिक जैव विविधता लक्ष्य की पुष्टि करते हुए 2030 तक ‘नो नेट लॉस ऑफ बायोडायवर्सिटी’ (No Net Loss of Biodiversity) हासिल करने की प्रतिबद्धता जताई है। इस लक्ष्य को पूरा करने के लिए कंपनी ने अपने परियोजना स्थलों पर 2.78 करोड़ (27.86 मिलियन) पेड़ लगाने की योजना बनाई है।

पारंपरिक ESG से ‘नेचर-पॉजिटिव’ मॉडल की ओर बदलाव

इस कदम के साथ, AGEL का उद्देश्य पारंपरिक ईएसजी (ESG) अनुपालन से आगे बढ़कर रिन्यूएबल एनर्जी के विकास के लिए एक एकीकृत, ‘नेचर-पॉजिटिव’ मॉडल की ओर बढ़ना है। यह सुनिश्चित करेगा कि स्वच्छ ऊर्जा के विस्तार के साथ-साथ पारिस्थितिक कल्याण (ecological wellbeing) भी आगे बढ़े।

AGEL के सीईओ, आशीष खन्ना ने कहा, “प्रकृति हमारी विकास गाथा के केंद्र में है। हमारे कार्यों में TNFD के सिद्धांतों को मुख्यधारा में लाकर, हम रिन्यूएबल एनर्जी इंफ्रास्ट्रक्चर के साथ-साथ लचीले पारिस्थितिकी तंत्र (ecosystem) के निर्माण के अवसरों की पहचान कर रहे हैं। हमारा दृष्टिकोण यह सुनिश्चित करना है कि रिन्यूएबल विस्तार प्राकृतिक पूंजी की रक्षा और उसे बहाल करने में सक्रिय रूप से योगदान दे।”

वित्त वर्ष 2024 से ही शुरू कर दी थी तैयारी

AGEL ने TNFD अडॉप्टर्स ग्रुप में औपचारिक रूप से शामिल होने से पहले ही तैयारी शुरू कर दी थी। वित्त वर्ष 2024 की शुरुआत में, कंपनी ने प्रत्येक परिचालन स्थल पर प्रकृति से संबंधित निर्भरताओं और जोखिमों को मैप करने के लिए कंपनी-व्यापी आकलन शुरू कर दिया था।

कंपनी की अन्य उपलब्धियां

AGEL के पास वर्तमान में 16.5 गीगावाट (GW) से अधिक का परिचालन रिन्यूएबल पोर्टफोलियो है, जो भारत में सबसे बड़ा है और 12 राज्यों में फैला हुआ है। कंपनी का परिचालन पोर्टफोलियो ‘वॉटर पॉजिटिव’, ‘सिंगल-यूज प्लास्टिक फ्री’ और ‘जीरो वेस्ट-टू-लैंडफिल’ प्रमाणित है, जो स्थायी विकास के प्रति कंपनी की प्रतिबद्धता को दर्शाता है।

AGEL ‘इंडिया बिजनेस बायोडायवर्सिटी इनिशिएटिव’ (IBBI और IBBI 2.0) का भी हस्ताक्षरकर्ता है। TNFD फ्रेमवर्क के साथ जुड़कर, AGEL वैश्विक रिन्यूएबल कंपनियों के बीच अपने नेतृत्व को मजबूत कर रहा है।

यह भी पढ़ें-

कंक्रीट के जंगल में बदलता अहमदाबाद: हर नागरिक के हिस्से आ रही सिर्फ 0.5 वर्ग मीटर खुली जगह…

अयोध्या फैसला: 6 साल बाद भी मस्जिद निर्माण का इंतजार, नया नक्शा तैयार; जानें कब शुरू होगा काम

Your email address will not be published. Required fields are marked *