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पॉजीटिव बदलाव’ के लिए आरएसएस शुरू करेगा पांच यूनिवर्सिटी

| Updated: September 26, 2022 10:55 am

हरिद्वारः कई शैक्षणिक संस्थानों (educational institutions) को चलाने वाले आरएसएस (RSS) के बोर्ड विद्या भारती ने देश के विभिन्न हिस्सों में पांच यूनिवर्सिटी खोलने का फैसला किया है। भगवा (saffron) संगठन पहले से ही प्राथमिक और उच्च माध्यमिक शिक्षा (primary and higher secondary education) में शामिल रहा है। अब वह उच्च शिक्षा (higher education) पर ध्यान केंद्रित करना चाहता है। यह जानकारी विद्या भारती के राष्ट्रीय सह-संगठन सचिव (national co-organising secretary) यतींद्र शर्मा ने हरिद्वार स्थित सरस्वती विद्या मंदिर इंटर कॉलेज के समारोह में दी। शर्मा ने शनिवार को कहा, “इसका उद्देश्य शिक्षा में सकारात्मक बदलाव (positive changes in education) लाना है।”

शर्मा ने कहा कि उच्च शिक्षा संस्थान पिछले साल ही बेंगलुरु में 125 एकड़ के विशाल परिसर में चाणक्य यूनिवर्सिटी खोल चुका है। उसका एक कैंपस गुवाहाटी में भी है, जिसमें काम चल रहा है। उन्होंने बताया कि आरएसएस के शैक्षिक संगठनों में सभी वर्गों और पंथों के छात्रों को एडमिशन दिया जाएगा। बेंगलुरु यूनिवर्सिटी के पहले बैच में कुल 200 छात्रों ने दाखिला लिया है।

विद्या भारती स्कूलों के पचास मेधावी छात्रों (meritorious students) को आरएसएस द्वारा संचालित बेंगलुरु के चाणक्य यूनिवर्सिटी में मुफ्त शिक्षा (free education) दी जाएगी।

शर्मा ने बताया कि इस समय 29,000 आरएसएस स्कूलों में 31 लाख छात्र पढ़ रहे हैं। उनके पास लगभग 1,50,000 शिक्षक हैं। आरएसएस द्वारा संचालित संस्थानों में “मुस्लिम और ईसाई समुदायों के छात्रों की भी अच्छी संख्या” है। उन्होंने कहा कि विद्या भारती उत्तराखंड के प्रत्येक जिले में एक मॉडल स्कूल शुरू करने की योजना भी बना रही है। उत्तराखंड के शिक्षा मंत्री धन सिंह रावत ने कहा, “उत्तराखंड प्लेस्कूल स्तर पर राष्ट्रीय शिक्षा नीति लागू करने वाला पहला भारतीय राज्य है। इसने उच्च शिक्षा में एनईपी शुरू करने का भी फैसला किया है और इस उद्देश्य के लिए 57 बैठकें की हैं।”

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