अहमदाबाद: अक्षय तृतीया पर जहां सोने की चमक बनी रही, वहीं अहमदाबाद के खरीदारों ने इस बार उसे ठंडा रिस्पॉन्स दिया।
सोने की कीमतें और गर्मी दोनों ही चरम पर पहुंच गए, जिससे ग्राहकों का उत्साह ठंडा पड़ गया। अहमदाबाद ज्वेलर्स एसोसिएशन (JAA) के अनुसार, इस बार बिक्री में करीब 60% की गिरावट दर्ज की गई। मंगलवार को मात्र 50 किलोग्राम सोना ही बिका, जबकि 2024 में इसी दिन 150 किलोग्राम सोना खरीदा गया था।
सोना मंगलवार को 98,000 रुपए प्रति 10 ग्राम की ऊंचाई पर कारोबार कर रहा था, जो अधिकांश ग्राहकों के लिए बजट से बाहर था। बुधवार को कीमतों में 1,000 रुपए की मामूली गिरावट जरूर आई, लेकिन तब तक बाजार की रौनक फीकी पड़ चुकी थी।
इंडिया बुलियन एंड ज्वेलर्स एसोसिएशन (IBJA) के निदेशक हरेश आचार्य ने बताया, “मांग पूरी तरह से सुस्त रही। ना के बराबर ग्राहक आए और कोई प्री-बुकिंग भी नहीं हुई। कुछ दिन पहले सोना ₹1 लाख के पार चला गया था, जिससे निवेशकों का विश्वास हिल गया। मेकिंग चार्ज पर आकर्षक ऑफर देने के बावजूद ग्राहक नहीं आए।”
जो ज्वेलर्स भारी भीड़ की उम्मीद में तैयार थे, उन्हें केवल पुराने ऑर्डर ही डिलीवर करने पड़े, नई खरीददारी बहुत कम रही। JAA के अध्यक्ष जिगर सोनी ने कहा, “इस साल अहमदाबाद में बिक्री लगभग 60% तक कम रही। अधिकांश ग्राहक छोटे डिनॉमिनेशन में सोने-चांदी के सिक्कों की तरफ झुके। आभूषणों की खरीद बेहद मामूली रही। शायद कुछ 14 या 16 कैरेट के गहने बिके, लेकिन वो भी बहुत कम मात्रा में। इस बार 80% बिक्री केवल सिक्कों और गोल्ड बार की रही।”
एक ओर ऊंची कीमतें, दूसरी ओर झुलसाती गर्मी — ये दोनों कारण मिलकर अक्षय तृतीया जैसे शुभ दिन को भी सोने के कारोबार के लिए फीका बना गए।
कुछ ग्राहकों ने शुभ मुहूर्त को खाली नहीं जाने देने के लिए चांदी की ओर रुख किया, लेकिन उसमें भी ज्यादा हलचल नहीं देखी गई। बुलियन व्यापारी हेमंत चोकसी ने कहा, “ज्वेलरी में बहुत कम मूवमेंट देखने को मिला। हीटवेव ने अक्षय तृतीया की चमक को पूरी तरह से झुलसा दिया। ज्यादातर ग्राहक 1 ग्राम या 2 ग्राम के गोल्ड कॉइन और 10 से 20 ग्राम के सिल्वर कॉइन तक ही सीमित रहे।”
इस साल सोना आम आदमी की पहुंच से बाहर और गर्मी की तपिश के साथ इतना “हॉट” हो गया कि बाजार का जोश पिघले हुए धातु की तरह ठंडा पड़ गया।
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