राजस्थान में पहला स्किन डोनेशन, पहली डोनर बनीं अनिता, बर्न केस में मिलेगी नई जिंदगी

Gujarat News, Gujarati News, Latest Gujarati News, Gujarat Breaking News, Gujarat Samachar.

Latest Gujarati News, Breaking News in Gujarati, Gujarat Samachar, ગુજરાતી સમાચાર, Gujarati News Live, Gujarati News Channel, Gujarati News Today, National Gujarati News, International Gujarati News, Sports Gujarati News, Exclusive Gujarati News, Coronavirus Gujarati News, Entertainment Gujarati News, Business Gujarati News, Technology Gujarati News, Automobile Gujarati News, Elections 2022 Gujarati News, Viral Social News in Gujarati, Indian Politics News in Gujarati, Gujarati News Headlines, World News In Gujarati, Cricket News In Gujarati

राजस्थान में पहला स्किन डोनेशन, पहली डोनर बनीं अनिता, बर्न केस में मिलेगी नई जिंदगी

| Updated: December 6, 2022 19:27

राजस्थान के सवाई मानसिंह अस्पताल में स्किन डोनेशन शुरू हो गया है। जयपुर में स्किन बैंक (skin bank) की शुरुआत के बाद पहली बार सोमवार को यहां स्किन डोनेशन हुआ। राज्य की पहली स्किन डोनर जयपुर के वैशाली नगर की 60 साल की अनिता गोयल बनी हैं।

एसएमएस अस्पताल के प्लास्टिक सर्जरी विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. राकेश कुमार जैन ने बताया कि रविवार की देर रात उन्हें हार्ट अटैक आया था। घरवाले उन्हें लेकर एक प्राइवेट अस्पताल पहुंचे, जहां उन्हें ब्रेन डेड घोषित कर दिया गया। इसके बाद परिवार ने स्किन डोनेशन का फैसला किया। डॉ. जैन ने बताया कि करीब सवा एक बजे उन्हें इसकी जानकारी मिली। इसके बाद सोमवार को वह डॉ. अनूप, डॉ. नरपत सिंह, डॉ. आशा और नर्सिंगकर्मी राजेश गोयल के साथ उस अस्पताल में गए, जहां अनिता को रखा गया था। वहां उन्होंने आइसीयू में महिला की पीठ और पैर की स्किन ली। इस प्रक्रिया में करीब दो घंटे का समय लगा। इसके बाद स्किन को स्किन बैंक में रख दिया गया है। यह स्किन पांच साल तक सुरक्षित रह सकती है।

डॉक्टरों के अनुसार, जलने के मामले में मरीज के लिए यह स्किन जीवनदायी साबित होगी। ऐसे मरीज जो 60 फीसदी जले हैं, उनकी ब्लड टेस्ट की रिपोर्ट के बाद डोनेट की गई स्किन को लगाया जा सकेगा। इतना ही नहीं, राजस्थान में चिंरजीवी योजना के तहत इस तरह का इलाज फ्री होगा।

डॉ. जैन के मुताबिक, किसी व्यक्ति के निधन के बाद स्किन डोनेट हो सकती है। डोनेट करने वाले की उम्र की कोई सीमा नहीं है। मौत के बाद यदि शव को कोल्ड स्टोरेज में रखा गया है, तो उसकी स्किन अगले 24 घंटे तक सुरक्षित रखी जा सकती है। बर्न केस में इस स्किन से 60 फीसदी मरीज को नया जीवन मिल सकता है। दरअसल बर्न केस में मरीज की स्किन 60 फीसदी या उससे ज्यादा जल जाती है, तो मौत का खतरा बढ़ जाता है। लेकिन ऐसी कंडीशन में यदि स्किन मिल जाए, तो उसकी जान बचाई जा सकती है। ऐसे इलाज में मरीज के बचने की संभावना 90 फीसदी तक होती है।

और पढ़ें: राजस्थान में ग्रामीण पर्यटन योजना लागू

Your email address will not be published. Required fields are marked *

%d